जब पहली बार हो प्रेग्नेन्सी ...
कहते हैं किसी भी औरत के लिए सबसे बड़ा सुख मां बनने का एहसास होता है। जब कोई महिला पहली बार प्रेगनेंट होती है तो उसे कई बातों का खास ख्याल रखना होता है। ऐसे में खुद का ख्याल रखने के लिए डॉक्टर की सलाह के साथ ही घर के बड़ों की सलाह भी लेना चाहिए। आइए जानें गर्भावस्था में स्वस्थ रहने के लिए ऐसे ही कुछ नुस्खों के बारे में...
- गर्भधारण के दौरान निर्धारित कैलोरी और पौष्टिक आहार लेना बहुत जरूरी है जैसे अनाज, सब्जियां, फल, बिना चर्बी का मीट, कम वसा युक्त दूध, नारियल पानी आदि।
-गर्भावस्था में ज्यादा मात्रा में फोलिक एसिड, आयरन, कैल्सियम, विटामिन ए एवं बी-12 की जरूरत होती है।
- पर्याप्त मात्रा में पानी पीएं।
- समय-समय पर डॉक्टर के संपर्क में रहे और हर महीने अपना चेकअप करवाती रहें।
- तैलीय पदार्थों का कम मात्रा में सेवन करें, जूस, सलाद, सूप इत्यादि तरल पदार्थ अधिक लें।
- हल्के-फुल्के ढीले-ढाले कपड़े ही पहनें।
- गर्भावस्था के दौरान सिगरेट व शराब जैसे पदार्थों का सेवन न करें।
- गर्भवती महिलाओं को किसी भी प्रकार की शारीरिक जोखिम भरे कार्यों से बचना चाहिए, साथ ही भारी सामान उठाने से भी बचना चाहिए।
- समय-समय पर टीके लगवाते रहना चाहिए।
गर्भावस्था के दौरान क्या खायें
- अगर आपको भूख नहीं है तो भी कुछ-कुछ देर पर थोड़ी-थो़ड़ी मात्रा में भोजन करती रहें। बढ़ते बच्चे को लगातार अतिरिक्त ऊर्जा और पोषण की आवश्यकता बनी रहती है। अगर आपको जी मिचलाने और भोजन से अरुचि की शिकायत है तो दिनभर के भोजन को छोटे-छोटे भागों में बांटें और धीरे-धीरे लें।
- इस प्रकार भोजन करना आपके लिए भार भी नहीं लगेगा औऱ आपके एवं आपके बच्चे की पोषण जरूरतें भी पूरी होती रहेगीं।
- संयमित रूप से वजन बढाएं। माना जाता है कि गर्भवती महिलाओं को दो के लिए खाना है, जिस क्रम में उनका वज़न काफी बढ जाता है। अगर आप काफी अधिक या कम वजन की नहीं हैं तो वजन कोई मुद्दा नहीं है। आप स्वास्थ्यकर आहार लें, जिसमें सभी जरूरी पोषक तत्व होना चाहिए।
- अत्यधिक वजन या कम वजन से गर्भावस्था में समस्याएं आ सकती हैं, इसलिए ऐसे में जांच कराना आवश्यक है। आपका डॉक्टर आपको सही दिशा-निर्देश दे सकता है।
- लगातार सक्रिय रहें और घर में इधर-उधर घूमती रहें। गर्भवती होने का मतलब ये नहीं है कि आप बेड पकड़ लें, कुछ श्रम या व्यायाम आपके लिए लाभप्रद है। कठिन या श्रमसाध्य व्यायाम और वेट लिफ्टिंग (भारी वजन उठाना) से बचें, सामान्य गति से टहलना, योगा, तनकर खड़ा होना आदि आपके लिए अच्छा है।
- अपनी हड्डियों को स्वस्थ रखने औऱ शरीर में कैल्शीयम के बेहतर अवशोषण के लिए विटामिन डी की पर्याप्त मात्रा का सेवन करें। आप चाहें तो विटामिन डी के सप्लीमेंट ले सकती हैं या फिर जब धूप अधिक तेज नहीं हो तो इसका सेवन करें। धूप का सेवन आपके बच्चे को भी अच्छा लगेगा।
- सुनिश्चित करें कि सभी फल और सब्जियां अच्छी तरह से धोयी और पकाई गई हैं। खाने से पहले भोजन को गर्म कर लें, ताकि फूड पॉइजनिंङ की संभावना नहीं रहे। बासी भोजन ना करें।
क्या नहीं करना चाहिए
- गर्भावस्था के दौरान या पहले शराब ना पीएं क्योंकि यह ना सिर्फ प्रजनन क्षमता को प्रभावित करता है, बल्कि शिशु के विकास में भी अवरोधक है। अल्कोहल लेने से फीटल अल्कोहल सिंड्रोम (एफएएस) का खतरा रहता है, जिसमें गर्भस्थ शिशु की वृद्धि औऱ मानसिक विकास को बहुत नुकसान पहुंचता है।
- कैफीन को किसी भी रूप में इसकी सुरक्षित मात्रा (200 मिग्रा/दिन) से ज्यादा ना लें। कैफीन से गर्भपात औऱ कम वजन के बच्चे के जन्म का खतरा बढता है। इसे लेना पूरी तरह बंद करें या दिन में 200 मिग्रा की सुरक्षित सीमा से ज्यादा ना लें।
- कच्चा, आधा पका या बिना पकाया हुआ भोजन ना करें, इससे फूड पॉइजनिंङ हो सकता है।
- मोल्ड(फफूंद वाला) चीज जैसे-ब्लू जीज ना खाएं। सॉफ्ट चीज के बजाय हार्ड चीज जैसे-पार्मेसन का भोजन में उपयोग करें।
- विटामिन ए की जरूरत से अधिक मात्रा ना लें, क्योंकि इससे शिशु में गंभीर समस्या/दोष हो सकता है। विटामिन ए के सप्लीमेंट और लीवर ना लें, क्योंकि इसमें बहुत ज्यादा मात्रा में विटामिन ए होता है।
- धूम्रपान ना करें, क्योंकि यह भ्रूण के विकास में बाधा डालता है।
- यह सोचकर कि आप दो के लिए खा रही हैं, जरूरत से ज्यादा ना खाएं। शिशु के लिए अतिरिक्त कैलोरी की खपत मात्र गर्भावस्था के आखिरी तीन महीनों के दौरान होता है। अपनी भूख के अनुसार हर दो से चार घंटे पर थोड़ा-थो़ड़ा खाती रहें।
- गर्भावस्था के दौरान वजन घटाने की कोशिश ना करें। अगर आपका वजन अधिक है तो डाइटिंग करके इसे घटाने की कोशिश गर्भधारण से पहले ही करना चाहिए। गर्भावस्था के दौरान वजन घटाने की कोशिश से आपके शरीर में पोषक तत्वों की कमी हो सकती है।
इससे आपके शिशु को नुकसान पहुंच सकता है, जिसका परिणाम कम वजन के बच्चे का जन्म या नवजात में पोषक तत्वों की कमी के रूप में सामने आ सकता है।
विटामिन और सप्लीमेंट
संतुलित आहार आपके दैनिक पोषण जरूरतों की पूर्ति के लिए काफी है, लेकिन पूरक आहार लेना भी जरूरी है। संभव है कि प्राकृतिक भोजन में कुछ विटामिन और खनिज हमेशा उपयुक्त मात्रा में नहीं मिलें, इसलिए पूरक आहार इनकी पूर्ति कर सकते हैं। सबसे अच्छा रहेगा कि आप इसके लिए अपने डॉक्टर की सलाह लें।
विटामिन ए सप्लीमेंट्स नहीं लेना चाहिए, क्योंकि इससे गंभीर भ्रूण विकृति हो सकती है। सप्लीमेंट लेने और इसकी खुराक तय करने के लिए डॉक्टर से परामर्श लेना आवश्यक है, क्योंकि ओवरडोज या स्वयं दवा लेने से आपको और आपके होने वाले बच्चे को बहुत नुकसान पहुंच सकता है।
सात चीजें ऐसी, जिन्हें प्रेग्नेन्सी में बिल्कुल नहीं खाना चाहिए....
प्रेग्नेन्सी में हर मां को अपनी और अपने बच्चे की स्पेशल केयर करनी होती है इसलिए कहा जाता है कि हर मां को अपने खाने-पीने का विशेष ख्याल रखना चाहिए। उसे दो लोगों के पेट भरने जितना भोजन करना चाहिए। साथ ही जिन भी चीजों में रूचि हो वो सभी खाना चाहिए। लेकिन ये बात पूरी तरह सच नहीं है क्योंकि कुछ चीजे ऐसी भी होती हैं जिनका सेवन गर्भावस्था में नुकसान पहुंचाता है आज हम बताने जा रहे हैं कुछ ऐसी ही चीजों के बारे में...
1. रेडीमेड और प्री-पेक्ड फूड नहीं खाना चाहिए।
1. रेडीमेड और प्री-पेक्ड फूड नहीं खाना चाहिए।
2. मैदा से बनी चीजों का अधिक सेवन भी नुकसानदायक होता है।
3. ज्यादा मर्करी की उपस्थित वाला सी फूड भी नहीं खाना चाहिए।
4. नशीले पदार्थों का सेवन बिल्कुल न करें।
5. कच्चा पपीता कभी न खाएं । विटामिन ए से बनी चीजों का बहुत अधिक सेवन गर्भावस्था में मां और बच्चे दोनों को नुकसान पहुंचाता है।
6. बहुत ज्यादा मात्रा में शुगर का सेवन भी अच्छा नहीं माना गया है।
7. कैफिन का अधिक सेवन बहुत ज्यादा नुकसान पहुंचाता है।
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